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Tonk पत्थरों से भरे ट्रैक्टर-ट्रॉली को छुड़ाने आए कांस्टेबल और पंचायत समिति सदस्य गिरफ्तार

 
Tonk पत्थरों से भरे ट्रैक्टर-ट्रॉली को छुड़ाने आए कांस्टेबल और पंचायत समिति सदस्य गिरफ्तार
टोंक न्यूज़ डेस्क, टोंक जब्त चेजा पत्थर से भरी ट्रैक्टर-ट्रॉली के आगे बाइक एवं कार फंसा छुड़वाने का प्रयास करने पर दूनी थाना पुलिस ने रविवार रात एक पुलिसकर्मी एवं पंचायत समिति सदस्य को शांतिभंग के आरोप में गिरफ्तार किया है। इस दौरान मौका देखकर ट्रैक्टर-ट्रॉली चालक फरार हो गया। पंचायत समिति सदस्य सहित पुलिसकर्मी को गिरफ्तार कर थाने लाने की सूचना पर भाजपा प्रत्याशी के समर्थक थाने पर जमा हो गए और पुलिस पर एक तरफा कार्रवाई का आरोप लगा विरोध जताया।

थानाप्रभारी विजयसिंह मीणा ने बताया कि शांतिभंग के आरोप में गिरफ्तार आरोपी नैनवां जिला बूंदी पुलिस थाने में चालक कांस्टेबल चंकआनन्दपुरा थाना दूनी निवासी हीरालाल गुर्जर व पंचायत समिति सदस्य मुकेश गुर्जर है। उन्होंने बताया कि गश्त के दौरान रविवार शाम पुलिस ने आवां-चकआनन्दपुरा मार्ग से अवैध चेजा पत्थर से भरी ट्रैक्टर-ट्रॉली जब्तकर पुलिस चौकी ले आए। इसके बाद जब्त ट्रैक्टर-ट्रॉली को दूनी थाने के लिए रवाना कर दी। इसी दौरान सूचना पर कार एवं बाइक पर पुलिसकर्मी हीरालाल, पंचायत समिति सदस्य मुकेश सहित अन्य लोगों ने थाने की ओर जा रही ट्रैक्टर-ट्रॉली के आगे वाहन लगाकर जबरन छुड़वाकर ले जाने का प्रयास किया। मौजूद पुलिसकर्मियों ने जब्त ट्रैक्टर-ट्रॉली व कार्य में बाधा डाल रहे पुलिसकर्मी हीरालाल व सदस्य मुकेश को सरकारी जीप में बैठाकर गिरफ्तार कर थाने ले आए। इस दौरान पुलिसकर्मी व पंचायत समिति सदस्य ने मारपीट का आरोप लगाया।

पुलिसकर्मी हीरालाल व भाजपा समर्थित पंचायत समिति सदस्य मुकेश को थाने पर लाए जाने की सूचना पर भाजपा प्रत्याशी के दर्जनों समर्थक देर रात थाने पर जमा होने लगे और एक तरफा कार्रवाई का विरोधकर भाजपा पदाधिकारियों को परेशान करने का आरोप लगा विरोध जताया। सूचना के बाद थाने पहुंचे देवली पुलिस उपाधीक्षक सुरेश कुमार ने मामले की जानकारी लेकर उच्चाधिकारियों को मामले से अवगत करा थाने लेकर आए। पुलिसकर्मी हीरालाल व पंचायत समिति सदस्य मुकेश को शांतिभंग के आरोप में गिरफ्तार कर लिया। पुलिस की ओर से रात को ही पेश करने पर तहसीलदार रामसिंह ने दोनों को जमानत पर छोड़ दिया। अवैध खनन पर अंकुश लगाना पुलिस व प्रशासन के लिए तब भारी होता है, जब उनका ही कोई कार्मिक इसमें शामिल हो। या फिर जनप्रतिनिधि भी अवैध की पैरवी करे। टोंक जिले में ऐसे मामले में कई बार सामने आते हैं। दूनी में रविवार रात ऐसा ही मामला सामने आया।