हीटवेव से निपटने के लिए राजस्थान के इस जिले में पूरी तैयारी, अस्पतालों में 3 महीने की दवाइयां और विशेष वार्ड की व्यवस्था

प्रतापगढ़ न्यूज़ डेस्क - गर्मी का मौसम बढ़ने के साथ ही लू की समस्या भी बढ़ने की आशंका है। इस गंभीर समस्या से निपटने के लिए प्रतापगढ़ जिला अस्पताल ने अपनी तैयारियां तेज कर दी हैं।अस्पताल प्रशासन ने लू के दौरान मरीजों के उपचार के लिए विशेष व्यवस्था की है, जिसमें प्री-फैब्रिकेटेड वार्ड के जरिए अतिरिक्त बेड तैयार किए गए हैं। लू से निपटने के लिए जिला अस्पताल में 14 बेड का विशेष प्री-फैब्रिकेटेड वार्ड तैयार किया गया है। इस वार्ड में मरीजों के उपचार के लिए जरूरी सभी सुविधाएं मुहैया कराई गई हैं। वार्ड में ऑक्सीजन की व्यवस्था के साथ ही एसी (एयर कंडीशनिंग) और जरूरी दवाइयों की भी व्यवस्था सुनिश्चित की गई है। इसके अलावा शरीर का तापमान कम करने के लिए 60 आइस पैक रखे गए हैं, ताकि मरीजों को राहत मिल सके। जिला अस्पताल में डॉक्टरों के 80 पद स्वीकृत हैं, जिनमें से 20 स्थायी और चार यूटीबी पर कार्यरत हैं। अस्पताल में स्टाफ की भारी कमी के बीच पीएमओ ने सभी को जिम्मेदारी के साथ यह कार्य सौंपा है।
सफाई व अन्य व्यवस्थाएं: अस्पताल की साफ-सफाई पर भी विशेष ध्यान दिया गया है। पीएमओ धीरज सेन ने बताया कि अस्पताल में किसी भी तरह की गंदगी व संक्रमण का खतरा न रहे, इसके लिए सफाई व्यवस्था को पूरी तरह से जांच लिया गया है। साथ ही मच्छरों से बचाव के लिए मच्छरदानी की भी व्यवस्था की गई है। वर्तमान में जिला अस्पताल में कुल 24 डॉक्टर कार्यरत हैं, इनमें से प्रत्येक डॉक्टर को उनकी विशेषज्ञता व जिम्मेदारी के अनुसार अलग-अलग ड्यूटी सौंपी गई है। इससे यह सुनिश्चित हुआ कि सभी मरीजों को उचित व त्वरित चिकित्सा सहायता मिले। मरीजों की त्वरित देखभाल के लिए प्री-फैब्रिकेटेड वार्ड में इमरजेंसी किट भी उपलब्ध कराई गई है, इसमें ओआरएस (ओरल री-हाइड्रेशन सॉल्यूशन) व अन्य जरूरी सामग्री शामिल है। इस विशेष वार्ड में भीषण गर्मी से निपटने के लिए 6 नर्सिंग स्टाफ की भी नियुक्ति की गई है, जो दिन-रात मरीजों की देखभाल करेंगे।
मुख्य चिकित्सा अधिकारी (सीएमओ) धीरज सेन ने बताया कि मेडिकल वार्ड में 6 बेड, बच्चों के वार्ड में 4 बेड व सर्जिकल वार्ड में 4 बेड के अतिरिक्त वार्ड तैयार किए गए हैं। इसके अलावा 20 बेड का एक अन्य अतिरिक्त वार्ड भी तैयार किया गया है, ताकि मरीजों को अधिक से अधिक सुविधाएं मिल सकें। अस्पताल प्रशासन द्वारा यह व्यवस्था इसलिए सुनिश्चित की गई है ताकि गर्मी के मौसम में अधिक संख्या में मरीजों को उचित उपचार मिल सके।