राजस्थान को गुड गवर्नेंस में रोल मॉडल बनाएं: सीएम भजनलाल शर्मा
जयपुर, 25 दिसंबर (आईएएनएस)। राजस्थान के मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा ने गुरुवार को कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के 'न्यूनतम सरकार, अधिकतम शासन' के विजन के अनुरूप सभी हितधारकों को पूरी निष्ठा, समर्पण और जिम्मेदारी के साथ काम करना होगा।
उन्होंने अधिकारियों और कर्मचारियों से अपील की कि वे जनसेवा, नवाचार और जवाबदेही पर आधारित कार्यसंस्कृति अपनाएं, ताकि राजस्थान को सुशासन का आदर्श राज्य बनाया जा सके।
मुख्यमंत्री ने यह बात सुशासन दिवस के अवसर पर एचसीएम रीपा (हरीश चंद्र माथुर राजस्थान राज्य लोक प्रशासन संस्थान) में आयोजित राज्य स्तरीय समारोह को संबोधित करते हुए कही।
उन्होंने पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी को श्रद्धांजलि अर्पित करते हुए कहा कि सुशासन भारतीय संस्कृति का अभिन्न हिस्सा रहा है, जिसे परंपरागत रूप से 'रामराज्य' कहा गया है। इन्हीं आदर्शों का अनुसरण करते हुए अटल बिहारी वाजपेयी ने शासन को सुशासन में बदला और स्वशासन को प्रभावी प्रशासन का रूप दिया।
मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा ने कहा कि प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना और स्वर्णिम चतुर्भुज परियोजना जैसे ऐतिहासिक कदमों के जरिए वाजपेयी ने ग्रामीण विकास और देश की आर्थिक प्रगति को नई गति दी। सूखा और बाढ़ जैसी समस्याओं के समाधान के लिए वाजपेयी ने नदी जोड़ो जैसी दूरदर्शी पहल की शुरुआत की थी।
वाजपेयी के राष्ट्रप्रेम को याद करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि कारगिल युद्ध के दौरान ऑपरेशन विजय से लेकर बाहरी दबावों के बावजूद परमाणु परीक्षण करने तक, उनके नेतृत्व ने आत्मनिर्भर और आत्मसम्मान से भरे भारत की नींव रखी। 'जय जवान, जय किसान, जय विज्ञान' का नारा देकर वाजपेयी ने विज्ञान को राष्ट्रीय विकास का महत्वपूर्ण आधार बनाया।
मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने वाजपेयी की सुशासन की विरासत को आगे बढ़ाया है और भारत को वैश्विक स्तर पर एक आदर्श देश के रूप में स्थापित किया है। नागरिकों को केंद्र में रखकर तकनीक का उपयोग किया गया है, जिससे सरकार और जनता के बीच सीधा संवाद संभव हुआ है। 'सबका साथ, सबका विकास' की सोच के साथ बनाई गई नीतियों से यह सुनिश्चित किया गया है कि योजनाओं का लाभ समाज के हर वर्ग तक पहुंचे।
उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री मोदी ने लोकतंत्र को और मजबूत किया है, नौकरशाही को सच्ची जनसेवा से जोड़ा है, और स्वयं को देश का 'प्रधान सेवक' मानते हुए काम किया है।
मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा ने ग्रामीण और शहरी समस्या समाधान शिविरों तथा पंडित दीनदयाल अंत्योदय संबल पखवाड़े जैसी पहलों का उल्लेख किया, जिनका उद्देश्य आम लोगों का जीवन सरल बनाना है।
उन्होंने बताया कि मिशन कर्मयोगी के तहत एचसीएम रीपा को राजस्थान के लिए नोडल विभाग बनाया गया है। राजस्थान देश का पहला राज्य बना है जिसने एकीकृत सरकारी ऑनलाइन प्रशिक्षण प्लेटफॉर्म से जुड़कर यह पहल शुरू की। अब तक सात लाख से अधिक कर्मयोगी इसमें पंजीकरण कर चुके हैं और 26 लाख से ज्यादा प्रशिक्षण पाठ्यक्रम पूरे किए जा चुके हैं।
गरीबों, युवाओं, किसानों और महिलाओं के उत्थान के प्रति प्रतिबद्धता दोहराते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि राजस्थान तेजी से एक सशक्त और समावेशी अर्थव्यवस्था की ओर बढ़ रहा है। राजस्थान देश की सातवीं सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था है और वर्ष 2047 तक इसे 4.3 ट्रिलियन डॉलर की अर्थव्यवस्था बनाने का लक्ष्य रखा गया है, ताकि विकसित राजस्थान का सपना साकार हो सके।
इस अवसर पर मुख्य सचिव वी. श्रीनिवास ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का संदेश पढ़कर सुनाया। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा के नेतृत्व में पिछले दो वर्षों में राज्य सरकार ने बहुआयामी दृष्टिकोण से नागरिकों के जीवन में सकारात्मक बदलाव लाए हैं। सरकार के दो वर्ष पूरे होने के उपलक्ष्य में बीते दो हफ्तों में पूरे राज्य में छह लाख से अधिक गतिविधियां और कार्यक्रम आयोजित किए गए।
क्षमता निर्माण आयोग के मानव संसाधन सदस्य डॉ. आर. बालासुब्रमण्यम ने कहा कि मिशन कर्मयोगी जनसेवा के क्षेत्र में एक ऐतिहासिक पहल है।
उन्होंने बताया कि प्रधानमंत्री मोदी ने इसे गुजरात के मुख्यमंत्री रहते हुए प्रयोगात्मक रूप से शुरू किया था, जिससे यह साबित हुआ कि प्रेरित लोक सेवक बेहतर परिणाम और सरल सेवाएं दे सकते हैं।
कार्यक्रम में उपमुख्यमंत्री दीया कुमारी और डॉ. प्रेमचंद बैरवा, संसदीय कार्य मंत्री जोगाराम पटेल, पुलिस महानिदेशक राजीव कुमार शर्मा और विभिन्न विभागों के वरिष्ठ अधिकारी मौजूद रहे। अंत में मुख्यमंत्री ने अधिकारियों और कर्मचारियों को सुशासन की शपथ दिलाई।
--आईएएनएस
वीकेयू/डीकेपी
