Aapka Rajasthan

डेमोक्रेट्स ने उठाए ट्रंप की नीतियों पर सवाल, चेताया-ज्यादा टैरिफ से भारत को खो देगा अमेरिका

वॉशिंगटन, 11 दिसंबर (आईएएनएस)। अमेरिका में राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के टैरिफ से जुड़े फैसलों को लेकर डेमोक्रेट्स ने उन्हें चेताया है। उनका कहना है कि राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप का टैरिफ सिस्टम और नई दिल्ली के प्रति टकराव वाला रवैया सही नहीं है। यह अमेरिका के सबसे अहम साझेदारों में से एक को लंबे समय तक नुकसान पहुंचा सकता है।
 
डेमोक्रेट्स ने उठाए ट्रंप की नीतियों पर सवाल, चेताया-ज्यादा टैरिफ से भारत को खो देगा अमेरिका

वॉशिंगटन, 11 दिसंबर (आईएएनएस)। अमेरिका में राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के टैरिफ से जुड़े फैसलों को लेकर डेमोक्रेट्स ने उन्हें चेताया है। उनका कहना है कि राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप का टैरिफ सिस्टम और नई दिल्ली के प्रति टकराव वाला रवैया सही नहीं है। यह अमेरिका के सबसे अहम साझेदारों में से एक को लंबे समय तक नुकसान पहुंचा सकता है।

हाउस फॉरेन अफेयर्स सब-कमेटी ऑन साउथ एंड सेंट्रल एशिया की यूएस-इंडिया स्ट्रैटेजिक पार्टनरशिप पर कांग्रेस की सुनवाई के दौरान डेमोक्रेटिक रैंकिंग मेंबर सिडनी कामलेगर-डोव ने ट्रंप पर दशकों की द्विदलीय प्रगति को खत्म करने का आरोप लगाया।

उन्होंने कहा कि बाइडेन प्रशासन ने ट्रंप को एक अच्छा द्विपक्षीय संबंध सौंपा था। इसमें एक फिर से सक्रिय क्वाड, एक उभरती हुई रक्षा तकनीक साझेदारी और एक भरोसेमंद सप्लाई चेन पार्टनर का हवाला दिया गया था, लेकिन ट्रंप ने उसे पूरी तरह से बर्बाद कर दिया।

उन्होंने चेतावनी दी कि इतिहास ट्रंप को कड़ा सबक सिखा सकता है, जब तक वह अपना रास्ता नहीं बदलते। ऐसी सूरत में ट्रंप वह अमेरिकी राष्ट्रपति होंगे, जिन्होंने भारत को खो दिया। डेमोक्रेट्स ने कहा, "आप (ट्रंप) रणनीतिक साझेदारों को अपने दुश्मनों की गोद में धकेलकर नोबेल शांति पुरस्कार नहीं जीत सकते।"

मामला ट्रंप के 25 प्रतिशत 'लिबरेशन डे टैरिफ' का था। भारत के रूसी तेल के आयात से नाराज अमेरिकी राष्ट्रपति ने भारत पर 25 प्रतिशत अतिरिक्त टैरिफ लगा दिया था और भारत पर टैरिफ का कुल 50 प्रतिशत बोझ आ गया। उन्होंने ट्रंप की नीति को आत्मघाती बताते हुए कहा कि भारत पर लगाया गया टैरिफ वर्तमान में चीन पर लगाए गए टैरिफ से अधिक है।

डेमोक्रेट्स ने ट्रंप पर एच-1बी वीजा पर 100,000 डॉलर की फीस लगाकर लोगों के बीच संबंधों पर हमला करने का भी आरोप लगाया, जिसमें से 70 प्रतिशत भारतीयों के पास हैं। उन्होंने इसे यूएस में भारतीयों के अविश्वसनीय योगदान का अपमान बताया।

भारत के प्रमुख थिंक टैंक ऑब्जर्वर रिसर्च फाउंडेशन के अमेरिकी सहयोगी ओआरएफ अमेरिका के ध्रुव जयशंकर ने कहा कि व्यापार वार्ता 13 फरवरी से पहले शुरू हुई थी और जुलाई तक, दोनों पक्ष एक समझौते के काफी करीब पहुंच गए थे। भारत सक्रिय रूप से मुक्त व्यापार सौदों पर काम कर रहा है और अगर वाशिंगटन में राजनीतिक इच्छाशक्ति है तो एक समाधान हाथ में है।

यह भी चेतावनी दी गई कि टैरिफ की वजह से चीन का मुकाबला करने और सप्लाई चेन को स्थिर करने सहित जरूरी रणनीतिक प्राथमिकताओं पर खतरा मंडरा सकता है। स्मिथ ने पैनल से कहा, "यह संयुक्त राज्य अमेरिका के लिए कम लागत वाली, उच्च लाभ वाली साझेदारी रही है। हमने जो विश्वास बनाया है, उसे खत्म करना बहुत बड़ी रणनीतिक गलती होगी।"

सुनवाई से यह साफ हो गया कि टैरिफ टकराव यूएस-भारत संबंधों में सबसे राजनीतिक रूप से संवेदनशील मुद्दा बन गया है और इसके व्यापक भू-राजनीतिक परिणाम होंगे।

--आईएएनएस

एससीएच/वीसी