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दिसंबर 2026 में देश को मिलेगा पहली नाइट सफारी का उपहार : सीएम योगी

लखनऊ, 19 नवंबर (आईएएनएस)। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा है कि दिसंबर 2026 में उत्तर प्रदेश देश को पहली नाइट सफारी का उपहार देगा। राजधानी लखनऊ में बनने जा रही यह नाइट सफारी देश और दुनिया के प्रकृति प्रेमियों के लिए एक नया गंतव्य होगा। यह दुनिया की पांचवीं नाइट सफारी होगी।
 
दिसंबर 2026 में देश को मिलेगा पहली नाइट सफारी का उपहार : सीएम योगी

लखनऊ, 19 नवंबर (आईएएनएस)। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा है कि दिसंबर 2026 में उत्तर प्रदेश देश को पहली नाइट सफारी का उपहार देगा। राजधानी लखनऊ में बनने जा रही यह नाइट सफारी देश और दुनिया के प्रकृति प्रेमियों के लिए एक नया गंतव्य होगा। यह दुनिया की पांचवीं नाइट सफारी होगी।

मुख्यमंत्री के समक्ष मंगलवार को उनके सरकारी आवास पर उच्चस्तरीय बैठक में प्रस्तावित कुकरैल नाइट सफारी पार्क एवं जू का प्रस्तुतिकरण किया गया। सीएम योगी ने कहा कि निर्माण कार्य हर हाल में जून 2026 तक पूरा कर लिया जाए। नाइट सफारी और जू के लिए वन्य जीवों के लाने की समुचित व्यवस्था प्रारंभ कर दी जाए। नाइट सफारी और जू की इकोनॉमी के लिए सस्टेनेबल मॉडल विकसित किया जाए। 72 फीसदी एरिया में ग्रीनरी विकसित की जाए और यहां सौर ऊर्जा प्रकल्पों को भी स्थान दिया जाए।

सीएम योगी ने कहा कि नाइट सफारी प्रोजेक्ट राज्य सरकार की महत्वाकांक्षी परियोजना है, इसके निर्माण के लिए केंद्रीय चिड़ियाघर प्राधिकरण, नई दिल्ली से अनुमति प्राप्त हो गई है। देश के सबसे बड़े राज्य उत्तर प्रदेश में दिसंबर 2026 में देश को पहली नाइट सफारी का उपहार मिल जाएगा। नाइट और डे सफारी का निर्माण चरणबद्ध रूप से होगा। लखनऊ में यह लगभग 900 एकड़ से अधिक में फैली होगी।

मुख्यमंत्री ने कहा कि कुकरैल नाइट सफारी का निर्माण हो जाने के पश्चात यह परियोजना अंतरराष्ट्रीय पर्यटन मानचित्र पर आ जाने के फलस्वरूप विदेशी पर्यटकों को भी आकर्षित करेगी। कुकरैल नाइट सफारी परियोजना को लखनऊ स्थित अन्य पर्यटन स्थलों से भी जोड़ा जाएगा। नाइट सफारी के 72 फीसदी एरिया को ग्रीनरी में विकसित किया जाए।

सीएम योगी ने कहा कि जानवरों को चिह्नित करने, यहां लाने व क्वारंटीन की प्रक्रिया प्रारंभ कर दी जाए। कुकरैल नाइट सफारी परियोजना के अंतर्गत ईको टूरिज्म जोन भी विकसित किया जाएगा। सौर ऊर्जा के प्रकल्पों को स्थान दिया जाए।

उन्होंने निर्देश दिया कि यहां क्वारंटीन सेंटर, वेटनरी हॉस्पिटल, पोस्ट ऑपरेशन व ऑपरेशन थियेटर की भी समुचित व्यवस्था हो। यहां कैफेटेरिया, 7 डी थियेटर, ऑडिटोरियम, पार्किंग आदि की भी सुविधा हो। एडवेंचर जोन के तहत सुपरमैन जिपलाइन, आर्चरी, जिप लाइन, बुरमा ब्रिज, पैडल बोट, स्काई रोलर, फाउंटेन, किड्स एक्टिविटी के लिए जंगल एनिमल थीम, स्काई साइकिल आदि विकसित किया जाए। डे सफारी का विस्तार दूसरे चरण में होगा। बैठक में प्रदेश सरकार के वन मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) डॉ. अरुण कुमार सक्सेना, शासन व वन विभाग के अधिकारी मौजूद रहे।

नाइट-डे सफारी की विशेषता :- नाइट सफारी क्षेत्र में इंडियन वॉकिंग ट्रे, इंडियन फुटहिल, इंडियन वेटलैंड, एरिड इंडिया व अफ्रीकन वेटलैंट की थीम पर विकसित किए जाने वाले क्षेत्र मुख्य आकर्षण होंगे। पर्यटकों द्वारा नाइट सफारी पार्क के अवलोकन हेतु 5.5 किमी. ट्रामवे तथा 1.92 किमी. का पाथवे माध्यम से किया जाएगा।

नाइट सफारी में मुख्यत: एशियाटिक लॉयन, घड़ियाल, बंगाल टाइगर, उड़न गिलहरी, तेंदुआ, हॉयना आदि मुख्य आकर्षण होंगे। कुकरैल नााइट सफारी परियोजना के अंतर्गत विश्व स्तरीय वन्य जीव चिकित्सालय व रेस्क्यू सेंटर का निर्माण भी प्रस्तावित है। कुकरैल वन क्षेत्र में स्थापित होने वाले जू में कुल 63 इनक्लोजर बनाए जाएंगे। जू में सारस क्रेन, स्वांप डियर, हिमालयन भालू, साउथ अफ्रीकन जिराफ, अफ्रीकन लॉयन व चिंपाजी मुख्य आकर्षण होंगे। जू को अफ्रीकन सवाना, इनक्रेडिबल इंडिया, इंजीनियर्ड वेटलैंड नामक थीम क्षेत्रों पर विकसित किया जाएगा।

--आईएएनएस

एसके/एबीएम