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Karoli जिला चिकित्सालय में हुई स्माइल लिवर क्लीनिक की शुरुआत, रोगियों को राहत

 
Karoli जिला चिकित्सालय में हुई स्माइल लिवर क्लीनिक की शुरुआत, रोगियों को राहत 

करौली न्यूज़ डेस्क, करौली शहर के जिला स्तरीय चिकित्सालय में लिवर (यकृत) संबंधी बीमारियों के मरीजों को अब विशेष उपचार मिल सकेगा। इसके लिए केन्द्रीय स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय ने गैर अल्कोहलिक फैटी लिवर नियंत्रण एवं रोकथाम कार्यक्रम के तहत लिवर स्माइल क्लीनिक स्थापित की है। इसमें खासतौर पर मादक पदार्थों का सेवन नहीं करने वाले फैटी लिवर रोगियों का उपचार होगा। दरअसल सामान्य लोगों में फैटी लिवर व यकृत संबंधी अन्य रोग होने का प्रतिशत बढ़ रहा है। ऐसे में केन्द्रीय स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय ने जिला स्तरीय चिकित्सालयों में मादक पदार्थ सेवन नहीं करने वाले यकृत रोगियों की जांच व समुचित उपचार के लिए लिवर स्माइल क्लीनिक शुरू की है। जिसमें नॉन-अल्कोहलिक फैटी लिवर डिजीज (एनएएफएलडी) के रोगियों को चिकित्सा परामर्श दिया जाएगा।

कार्यक्रम में गत दिनों जिला चिकित्सालय में फिजिशियन डॉ. अंकुश अग्रवाल को प्रभारी नियुक्त कर ओपीडी में लिवर स्माइल शुरू कर दी गई है। केन्द्र सरकार की ओर से जारी क्लीनिक मॉड्यूल के मुताबिक सेवाएं देने के लिए बीते माह जयपुर में चिकित्सकों प्रशिक्षण दिया गया। आगामी दिनों में दूसरे चरण के प्रशिक्षण के बाद क्लीनिक की सेवाओं की गति में तेजी आएगी।प्रतिदिन आते 20-25 यकृत रोगी : लिवर स्माइल क्लीनिक के प्रभारी डॉ. अंकुश अग्रवाल ने बताया कि डब्ल्यूएचओ के अनुसार नॉन अल्कोहलिक फैटी लिवर रोगियों का आंकड़ा 9 से 27 प्रतिशत है। चिकित्सालय की ओपीडी कुल 2 हजार रोगियों में करीब 200-250 लोग फैटी लिवर व संबंधित अन्य रोगों से पीड़ित होते हैं। इनमें से 20 प्रतिशत यानी 20-25 रोगी गैर मादक पदार्थ सेवी होते हैं। जिनका क्लीनिक में पंजीयन कर उपचार किया जाएगा।