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पूर्व CM मनमोहन सिंह आज राज्यसभा से होंगे रिटायर, इस पर मल्लिकार्जुन खड़गे ने कहा...

 
पूर्व CM मनमोहन सिंह आज राज्यसभा से होंगे रिटायर, इस पर मल्लिकार्जुन खड़गे ने कहा...

जयपुर न्यूज़ डेस्क,  भारत के पूर्व प्रधानमंत्री डॉ. मनमोहन सिंह की 33 वर्षीय संसदीय पारी का आज समापन हो जाएगा. 'आर्थिक सुधारों' के 'सूत्रधार' माने जाने वाले 91 वर्षीय मनमोहन सिंह पहली बार अक्टूबर 1991 में राज्यसभा के सदस्य बने थे. वह 1991 से 1996 तक भारत रत्न पी. वी. नरसिम्हा राव की सरकार में वित्त मंत्री और 2004 से 2014 तक देश के प्रधानमंत्री रहे थे. उनके स्थान पर अब सोनिया गांधी (Sonia Gandhi) पहली बार राजस्थान से उच्च सदन में प्रवेश करेंगी.

मल्लिकार्जुन खरगे का मनमोहन सिंह को पत्र

इस मौके पर कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे (Mallikarjun Kharge) ने पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह को एक पत्र लिखते हुए कहा, 'तीन दशकों से अधिक समय तक सेवा करने के बाद, आज जब आप राज्यसभा से रिटायर हो रहे हैं, यह एक युग का अंत है. मुझे याद है कि राष्ट्रपति ओबामा ने आपके बारे में उल्लेख किया था कि जब भी भारतीय प्रधानमंत्री बोलते हैं, तो पूरी दुनिया उन्हें सुनती है. व्यक्तिगत रूप से, आपके मंत्रिमंडल का हिस्सा बनना मेरे लिए सौभाग्य की बात है. पिछले 10 वर्षों में आप हमेशा ज्ञान का स्रोत रहे हैं और ऐसे व्यक्ति रहे हैं जिनकी सलाह को मैं महत्व देता हूं. पिछले कुछ वर्षों में, आपने व्यक्तिगत असुविधाओं के बावजूद कांग्रेस पार्टी के लिए उपलब्ध रहना सुनिश्चित किया है. इसके लिए पार्टी और मैं सदैव आभारी रहेंगे.'


'ग्रामीण गरीब हमेशा आपको याद रखेंगे'

खरगे ने आगे लिखा, 'आपने दिखाया है कि ऐसी आर्थिक नीतियों को आगे बढ़ाना संभव है जो बड़े उद्योगों, युवा उद्यमियों, छोटे व्यवसायों, वेतनभोगी वर्ग और गरीबों के लिए समान रूप से फायदेमंद हों. यह आप ही थे जिन्होंने दिखाया कि गरीब भी देश के विकास में भाग ले सकते हैं और गरीबी से बाहर निकल सकते हैं. आपकी नीतियों की बदौलत, आपके प्रधानमंत्री रहते हुए भारत 27 करोड़ लोगों को गरीबी से बाहर निकालने में सक्षम रहा, जो दुनिया में गरीबों की सबसे बड़ी संख्या है. आपकी सरकार में शुरू की गई मनरेगा योजना संकट के समय में ग्रामीण श्रमिकों को राहत प्रदान करती रहती है. देश और विशेष रूप से ग्रामीण गरीब आपको इस बात के लिए हमेशा याद रखेंगे कि वे इस योजना के माध्यम से जीविकोपार्जन कर सकें और आत्म-सम्मान के साथ जी सकें.'

'संसद को अब आपके ज्ञान की कमी खलेगी'

इसी क्रम में बोलते हुए खरगे ने कहा, 'देश उस शांत लेकिन मजबूत गरिमा को याद करता है जो आपने प्रधानमंत्री के पद पर लाई थी. संसद को अब आपके ज्ञान और अनुभव की कमी खलेगी. आपके गरिमापूर्ण, नपे-तुले, मृदुभाषी लेकिन राजनेता जैसे शब्द झूठ से भरी तेज आवाजों के विपरीत हैं जो वर्तमान राजनीति का संकेत देते हैं. मुझे अभी भी नोटबंदी पर आपका भाषण याद है, जिसे आपने 'भारी प्रबंधन विफलता' और 'एक संगठित लूट और वैध लूट' कहा था, जो एक गंभीर वास्तविकता साबित हुई है. आपने दिखाया कि व्यक्तिगत हुए बिना आलोचना करना संभव है. देश और जनता जल्द ही वर्तमान सरकार के झूठ को समझ जाएगी. जैसे सूर्य और चंद्रमा कभी छुप नहीं सकते, वैसे ही सत्य भी कभी छुप नहीं सकता. लोगों को जल्द ही आपकी बातों की अहमियत का एहसास हो जाएगा. भले ही आप सक्रिय राजनीति से आज रिटायर हो रहे हैं, मुझे आशा है कि आप जितनी बार संभव हो हमारे देश के नागरिकों से बात करके राष्ट्र के लिए ज्ञान और नैतिक करुणा की आवाज बने रहेंगे. मैं आपकी शांति, स्वास्थ्य और खुशी की कामना करता हूं.'