Jaipur में अब जेके लोन में खुलेगा राज्य का पहला कार्डियो थोरेसिक एंड वेस्कुलर सर्जरी विभाग
जयपुर न्यूज़ डेस्क, जयपुर जन्मजात विकृतियों जैसे हृदय, वाल्व और नसों में छेद के साथ पैदा हुए शिशुओं को अब ऑपरेशन के लिए भटकना नहीं पड़ेगा। जन्मजात विकृतियों के साथ पैदा हुए बच्चों को समय पर सर्जरी से बचाया जा सकता है। जेके लोन सरकारी स्तर पर पहला कार्डियो थोरैसिक और वैस्कुलर सर्जरी विभाग स्थापित करने की तैयारी कर रहा है। जगह को इमरजेंसी और आईसीयू के ऊपर मार्क कर दिया गया है। एक ही छत के नीचे ओटी, आईसीयू और वार्ड बनाने का प्रस्ताव है। सीएम ने इसके लिए 20 करोड़ मंजूर किए हैं।
दिल्ली एम्स जैसे सिर्फ एक या दो अस्पतालों में बच्चों की कार्डियक सर्जरी की सुविधा उपलब्ध है, जो देश में सरकारी स्तर पर चर्चित हैं। जेके लोन कार्डियो थोरैसिक एंड वैस्कुलर सर्जरी विभाग के गठन के साथ, न केवल हृदय से संबंधित जन्मजात विकृतियों के लिए सर्जरी, बल्कि बाल रोग विशेषज्ञ, प्रशिक्षित कर्मचारी भी यहां पहले से मौजूद हैं। यह विकृति पैदा होने वाले 3,000 में से एक बच्चे में पाई जाती है। हृदय रोग 1000 में से 2 से 5 बच्चों में होता है। 5% संभावना है कि ऐसे बच्चों में महाधमनी का वाल्व भी क्षतिग्रस्त हो जाएगा। बचपन में जब इस बीमारी का पता चल जाता है तो वॉल्व को रिप्लेस करने की जगह वॉल्व को रिपेयर करने का ही काम होता है। सरकार ने बच्चों के लिए कार्डियक सर्जरी की सुविधा विकसित करने के लिए 20 करोड़ रुपये मंजूर किए हैं। जेके लोन में बच्चों की कार्डियक सर्जरी की जा सकेगी। प्रस्ताव बनाकर शासन को भेज दिया गया है। जगह भी चिन्हित कर ली गई है। -डॉ। राजीव बगराहट्टा, प्राचार्य, एसएमएस मेडिकल कॉलेज