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Bundi बेबस साबित हो रहे वन, खनिज, राजस्व एवं पुलिस विभाग

 
Bundi बेबस साबित हो रहे वन, खनिज, राजस्व एवं पुलिस विभाग

बूंदी न्यूज़ डेस्क, बूंदी राज्य सरकार व खनिज विभाग की सख्ती के बाद भी बजरी का अवैध परिवहन जोरों पर हो रहा है। क्षेत्र में तालाब गांव जंक्शन बना हुआ है। गत दिनों हुई पुलिस कार्रवाई में इसका खुलासा भी हो गया है, फिर भी खनिज विभाग ठोस कार्रवाई नहीं कर पा रहा है। जानकारी अनुसार विगत माह राज्य सरकार ने खनिज विभाग सहित पांच विभागों से मिलकर अवैध बजरी खनन व परिवहन के खिलाफ अभियान चला कर रोक लगाने के आदेश जारी किए थे। इसके बाद भी नदियों से बड़ी मात्रा में रात को चोरी छुपे बजरी माफिया अवैध बजरी परिवहन कर रहे हैं। यहां पर शाम शुरू होने के साथ यहां पर तालाब गांव आसपास बड़ी संख्या में बजरी से भरे वाहन खड़े हो जाते हैं,जिससे देर रात यहां से बजरी का परिवहन शुरू हो जाता है। वहीं कई चालक वाहनों में बजरी ओवरलोड भरकर ला रहे हैं, जिन्हें राष्ट्रीय राजमार्ग 52 किनारे या रीको की भूमि सहित कुछ स्थानों पर खाली कर ढेर लगा देते हैं, जिससे जगह-जगह पर बजरी के ढेर पड़े हुए नजर आ रहे हैं। यहां से रात को एक साथ वाहन निकलते हैं, जो बूंदी कोटा सहित अन्य स्थानों पर बजरी खाली कर आते हैं। उल्लेखनीय है कि करीब एक सप्ताह पूर्व लोकसभा चुनाव के लिए फ्लैगमार्च के दौरान तालाब गांव में सडक़ किनारे बजरी के ढेर मिलने पर पुलिस व प्रशासनिक अधिकारियों ने यहां से तीन सौ टन बजरी जब्त की थी।

नाके भी नहीं रोक पा रहे

गत दिनों न्यायालय के आदेश पर बसोड़ी एवं बरूंधन मोड़ पर खनिज विभाग की ओर से अवैध परिवहन रोकने के लिए नाका लगाया गया था। वहीं खनिज अभियंता की ओर से यहां होमगार्ड सहित स्टाफ भी लगाया गया था, लेकिन एक सप्ताह में हुई पुलिस कार्रवाई से नाकों की पोल खोल कर रख दी। वहीं गत दिनों सोशल मीडिया पर एक वीडियो भी वायरल हुआ था, जिसमें नाके के सामने से ओवरलोड बजरी भरे ट्रेलर व ट्रक गुजर रहे थे।

सरकार को हानि, माफिया की चांदी

अवैध बजरी परिवहन होने से सरकार को लाखों रुपए का राजस्व का नुकसान हो रहा है। वहीं बजरी माफिया विभागीय कार्रवाई के चलते बजरी को ऊंचे दामों में बेच रहे है। ऐसे में भवन निर्माणकर्ता को उनकी मनमर्जी की दर पर बजरी खरीदनी पड़ रही है, जबकि बजरी भरे वाहन सडक़ों पर दौड़ रहे है।