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गुर्जर समाज की महापंचायत के चलते ट्रेन यातायात में घंटों बाधा, प्रशासन की सक्रियता से अब बहाल हुई सेवाएं

 
गुर्जर समाज की महापंचायत के चलते ट्रेन यातायात में घंटों बाधा, प्रशासन की सक्रियता से अब बहाल हुई सेवाएं

आरक्षण समेत विभिन्न मांगों को लेकर रविवार को राजस्थान के भरतपुर जिले में गुर्जर समुदाय की महापंचायत हुई, जो राज्य सरकार द्वारा उनकी मांगों पर सकारात्मक जवाब दिए जाने के बाद समाप्त हो गई। हालांकि, समुदाय के कुछ लोगों ने कथित तौर पर सरकार के जवाब पर असंतोष जताया। प्रदर्शनकारियों ने वहां से गुजर रही एक पैसेंजर ट्रेन को रोक दिया, जिससे डेढ़ घंटे से अधिक समय तक रेल सेवाएं बाधित रहीं।

महापंचायत में पढ़ा गया राज्य सरकार का जवाब

इससे पहले समुदाय के नेता विजय बैंसला ने महापंचायत में राज्य सरकार का जवाब पढ़ा। इसमें संविधान की नौवीं अनुसूची में अति पिछड़ा वर्ग (एमबीसी) के लिए पांच प्रतिशत आरक्षण शामिल करने के लिए राज्य मंत्रिमंडल से मंजूरी लेना, गुर्जर आंदोलन के दौरान दर्ज पुलिस मामलों के निपटारे के लिए हर जिले में एक नोडल अधिकारी की नियुक्ति करना शामिल है।

लंबित भर्तियों के निपटारे पर बनी सहमति

बैंसला ने दावा किया कि देवनारायण बोर्ड के तहत योजनाओं एवं कार्यों की मासिक समीक्षा बैठक आयोजित करने, लंबित भर्तियों को एक सप्ताह में संबंधित विभाग को सूचित कर निपटाने आदि पर भी सहमति बनी। बयाना के पीलूपुरा क्षेत्र में करबारी शहीद स्मारक पर गुर्जर आरक्षण संघर्ष समिति ने महापंचायत का आयोजन किया था। महापंचायत समाप्त होने के बाद समुदाय के कुछ लोग रेलवे लाइन पर एकत्र हो गए और बयाना कस्बे के निकट फतेहसिंहपुरा में 54794 मथुरा-सवाई माधोपुर पैसेंजर ट्रेन को रोक दिया तथा पटरियों पर लगे क्लिप हटा दिए।

ट्रेनों का आवागमन प्रभावित

उनके विरोध के कारण दिल्ली-मुंबई रूट पर ट्रेनों का आवागमन प्रभावित हुआ। बाद में अधिकारियों से वार्ता के बाद परिचालन बहाल कर दिया गया। अब पश्चिमी मध्य रेलवे के कोटा मंडल में फतेहसिंहपुरा और डूंगेरिया स्टेशनों के बीच रेल यातायात बहाल हो गया है। पश्चिम मध्य रेलवे के मुख्य जनसंपर्क अधिकारी (सीपीआरओ) ने बताया, ''डेढ़ घंटे से अधिक समय तक ट्रेनों की आवाजाही रुकी रही। रेलवे सुरक्षा बल (आरपीएफ), स्थानीय पुलिस और रेलवे व प्रशासनिक अधिकारियों ने प्रदर्शनकारियों से बात की, जिसके बाद परिचालन सुचारू रूप से बहाल हो सका।''

प्रदर्शनकारियों ने रेलवे ट्रैक खाली किया

कोटा (पश्चिम मध्य रेलवे) के वरिष्ठ मंडल वाणिज्यिक प्रबंधक सौरभ जैन ने बताया कि ट्रैक पर परिचालन पूरी तरह बहाल हो गया है। भरतपुर जिला कलेक्टर अमित यादव ने संवाददाताओं को बताया कि वार्ता के बाद प्रदर्शनकारी युवाओं ने रेलवे ट्रैक खाली कर दिया।

सरकार के मसौदा जवाब से खुश

भरतपुर के पुलिस महानिरीक्षक राहुल प्रकाश ने बताया कि युवाओं को समझाया गया कि उनकी मांगों पर किस तरह सुनवाई होगी और क्या प्रक्रिया होगी। विजय बैंसला ने कहा कि मांगों पर सरकार के मसौदा जवाब से पूरा समुदाय खुश है। विजय स्वर्गीय किरोड़ी सिंह के पुत्र हैं, जिन्होंने कई गुर्जर आंदोलनों का नेतृत्व किया था। विजय बैंसला ने कहा कि हो सकता है कि कुछ लोग ट्रैक पर चले गए हों, लेकिन वह इस बारे में ज्यादा कुछ नहीं बता सकते।

बैंसला ने कहा- हम सभी खुश

बैंसला ने पीटीआई-भाषा से कहा, "राज्य मंत्रिमंडल द्वारा संविधान की नौवीं अनुसूची में अति पिछड़ा वर्ग (एमबीसी) के लिए पांच प्रतिशत आरक्षण शामिल करने के लिए एक प्रस्ताव की सिफारिश की जाएगी और केंद्र से (इसे पारित कराने के लिए) आग्रह किया जाएगा। पूरा समुदाय यही चाहता था। यह एक विधायी मुद्दा है। हम सभी खुश हैं।" नौवीं अनुसूची में संघ और राज्य के कानून सूचीबद्ध हैं जिन्हें अदालत में चुनौती नहीं दी जा सकती।

हर जिले में नोडल अधिकारी नियुक्त किए जाएंगे

बैंसला ने कहा कि एक और मांग यह है कि गुर्जर आंदोलन के दौरान समुदाय के सदस्यों के खिलाफ दर्ज पुलिस मामलों को निपटाने के लिए हर जिले में एक नोडल अधिकारी नियुक्त किया जाना चाहिए। उन्होंने दावा किया, "सरकार इस पर सहमत हो गई है।" इससे पहले दिन में समिति ने भाजपा सरकार को रविवार दोपहर तक अपनी मांगों पर जवाब देने का अल्टीमेटम दिया था।

गुर्जर नेताओं से आंदोलन से बचने की अपील

राजस्थान के गृह राज्य मंत्री जवाहर सिंह बेधम ने गुर्जर नेताओं से आंदोलन से बचने की अपील की और कहा, "लोकतंत्र में सभी को अपनी बात कहने का अधिकार है। लेकिन, जब सरकार बिना किसी महापंचायत और आंदोलन के बातचीत के लिए तैयार है, तो फिर महापंचायत क्यों?

अतिरिक्त पुलिस बल तैनात

उन्होंने व्यक्तिगत रूप से विजय बैंसला से अपील भी की। इस महापंचायत के कारण बयाना (भरतपुर) और हिंडौन सिटी (करौली) के बीच यातायात मार्ग में परिवर्तन किया गया। कानून व्यवस्था बनाए रखने के लिए क्षेत्र में अतिरिक्त पुलिस बल तैनात किया गया। किरोड़ी सिंह बैंसला ने 2006 से आरक्षण मुद्दे पर कई आंदोलन किए हैं।