Alwar दो साल बाद भी कठूमर, रैणी, मालाखेड़ा और रामगढ़ में औद्योगिक क्षेत्र नहीं बन पाए
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इन क्षेत्रों का प्रस्ताव अटका : बानसूर के ग्राम नीमूचाना एवं खोहरी में 407.05 हैक्टेयर, कठूमर के ग्राम रूंध सोंकरी में 25.30 हैक्टेयर, रैणी के ग्राम धौराला में 24.08 हैक्टेयर, मालाखेड़ा के ग्राम बरखेड़ा की 32.81 हैक्टेयर भूमि पर औद्योगिक क्षेत्र विकसित करने के लिए प्रस्ताव बनाकर एनसीआरपीबी को भेजा गया था। इसी प्रकार रामगढ़ के ग्राम मूनपुर करमला व रसगण की 230.30 हैक्टेयर एवं ग्राम बगड़ राजपूत की 44.90 हैक्टेयर भूमि पर नए औद्योगिक क्षेत्र विकसित करने का प्रस्ताव भेजा गया था, जो अभी स्वीकृति के इंतजार में अटका हुआ है। अलवर जिला एनसीआर में आने से औद्योगिक क्षेत्रों की स्थापना के लिए भूमि को नेशनल कंजर्वेशन जोन से बाहर करने के लिए एनसीआर प्लानिंग बोर्ड की स्वीकृति जरूरी है। ऐसे में स्वीकृति के अभाव में नए औद्योगिक क्षेत्रों का विकास रूका हुआ है। इससे जिले में रोजगार के अवसर भी कम हो रहे हैं।
निरंतर प्रयास कर रहे
नवीन औद्योगिक क्षेत्रों की स्थापना के लिए निरंतर प्रयास कर रहे हैं। इसके लिए प्रस्ताव बनाकर भेजे जा चुके हैं। वहीं, रीको को भूमि का आवंटन होते ही नवीन औद्योगिक क्षेत्रों की स्थापना शीघ्र की जाएगी। फिलहाल प्रस्तावित भूमियों को संरक्षित करने के लिए जिला कलक्टर को आग्रह किया गया है।