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Alwar लोकसभा सीट पर महिलाओं को टिकट देने में बीजेपी-कांग्रेस पिछड़ गईं

 
Alwar लोकसभा सीट पर महिलाओं को टिकट देने में बीजेपी-कांग्रेस पिछड़ गईं 
अलवर न्यूज़ डेस्क,  अलवरकेंद्र में सत्तासीन भाजपा सरकार ने 19 सितंबर 2023 को लोकसभा में महिला आरक्षण बिल को नारी शक्ति वंदन अधिनियम के नाम से पेश किया और 20 सितंबर को लोकसभा और विधानसभाओं में महिलाओं को एक तिहाई आरक्षण देने वाला बिल पास हुआ। लेकिन अलवर लोकसभा सीट पर महिला प्रत्याशी उतारने में भाजपा और कांग्रेस दोनों ही पार्टियों ने कंजूसी बरती।  1952 से लेकर 2019 तक हुए लोकसभा चुनाव पर नजर डाली जाए तो महेंद्र कुमारी एकमात्र प्रत्याशी हैं, जो अलवर सीट से सांसद चुनी गई। उन्होंने 1991 में सांसद का चुनाव जीता। हालांकि बाद में वो कांग्रेस खेमे में चली गईं। कांग्रेस ने उन्हें 1999 में प्रत्याशी बनाया, लेकिन हार का सामना करना पड़ा। इसी तरह भाजपा ने वर्ष 2009 के लोकसभा चुनाव में किरन यादव को प्रत्याशी बनाया, लेकिन पूर्व सांसद जितेंद्र सिंह ने उन्हें एक लाख वोटों से हरा दिया।

अब यादव समाज का दबदबा

अलवर लोकसभा सीट पर यादव समाज का दबदबा है। यहां लगातार यादव जाति का प्रत्याशी ही चुनाव जीत रहा है। यही वजह है कि भाजपा ने भूपेंद्र यादव और कांग्रेस ने ललित यादव को मैदान में उतारा है। हालांकि इस सीट से कांग्रेस के दिग्गज नेता नवल किशोर शर्मा भी सांसद रह चुके हैं।

अलवर के अब तक के सांसद

वर्ष सदस्य दल

1952 शोभा राम कुमावत कांग्रेस

1957 शोभा राम कुमावत कांग्रेस

1962 काशी राम गुप्ता स्वतंत्र

1967 भोलानाथ मास्टर कांग्रेस

1971 हरि प्रसाद शर्मा कांग्रेस

1977 रामजी लाल यादव जनता पार्टी

1980 राम सिंह यादव कांग्रेस (आई)

1984 रामसिंह यादव भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस

1989 रामजी लाल यादव जनता दल

1991 महेंद्र कुमारी भाजपा

1996 नवल किशोर शर्मा कांग्रेस

1998 घासी राम यादव कांग्रेस

1999 जसवन्त सिंह यादव भाजपा

2004 करण सिंह यादव कांग्रेस

2009 जीतेन्द्र सिंह कांग्रेस

2014 महंत चांदनाथ भाजपा

2018 करण सिंह यादव(उपचुनाव) कांग्रेस

2019 महंत बालकनाथ भाजपा