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Alwar तेंदुए ने किया लूंगर का शिकार, पर्यटकों ने कैमरे में किया कैद

 
Alwar तेंदुए ने किया लूंगर का शिकार, पर्यटकों ने कैमरे में किया कैद 

अलवर न्यूज़ डेस्क, अलवर सरिस्का के जंगल में मंगलवार शाम को लेपर्ड ने लंगूर का शिकार किया। लेपर्ड ने लंगूर को 3 सैकंड में ही दबोच लिया। फिर मुंह में शिकार को लेकर घने जंगल की तरफ निकल गया। कुछ दूर ले जाकर शिकार को खाने लगा। यह नजारा मंगलवार शाम को टूरिस्ट के लिए बेहद आकर्षक रहा। उनकी खुशी का ठिकाना नहीं रहा। टाइगर को शिकार करते हुए खूब देखा जाता है। लेकिन लेपर्ड शिकार करते हुए कम दिखता है। वह भी लूंगर का शिकार तो बहुत ही कम देखने को मिलता है। सरिस्का में पांडूपोल मार्ग पर करणा का बास के पास मुख्य रोड पर यह देखने को मिल गया। मंगलवार को सरिस्का में पांडूपोल जाने वाले भक्त भी खूब आते हैं। उनके कैमरे में ही यह सब कैद हुआ है।

सरिस्का में लेपर्ड सैकड़ों की संख्या में

सरिस्का के जंगल में लेपर्ड की संख्या 400 से भी अधिक हो सकती है। वैसे वन विभाग के पास भी सटीक आंकड़ा नहीं है। जब कभी वन्यजीव गणना होती है तक यही कहा जाता है कि लेपर्ड की संख्या काफी अधिक है। असल में बफर जोन में ही लेपर्ड 50 से अधिक हो सकते हैं। पूरे जंगल में इसकी संख्या 400 से अधिक संभव है। इस कारण अब लेपर्ड भी सरिस्का में देखे जाते हैं। अब तो शिकार करते हुए भी नजर आते हैं।

अब 33 टाइगर सरिस्का में

हाल में तालवृक्ष रेंज में टाइग्रेस ST-12 ने तीन शावकों जन्में हैं। इसके बाद सरिस्का में टाइगर की संख्या 33 हो गईहै। जिनमें 11 बाघ, 14 बाघिन व 8 शावक हैं। एसटी 12 ने तीसरी बार में भी तीन शावकों को जन्म दिया है। कैमरा ट्रैप में तीन शावक दिखे हैं। शावक करीब 3 माह के हैं। बाघिन की उम्र करीब 10 वर्ष है। यह बाघिन ST-10 की बेटी है। जिसने तीसरी बार शावकों को जन्म दिया है। पहली बार 2018 में तीन शावक एसटी 19, 20 और 21 को जन्म दिया। दूसरी बार 2021 में तीन शवकों को जन्म दिया। जिसमें एसटी 23, एसटी 24 व एसटी 25 को जन्म दिया है। बाघिन एसटी 12 की बराबर मॉनिटरिंग की जा रही है। अब सरिस्का 11 बाघ, 14 बाघिन व 8 शावक हो गए हैं।