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Dholpur नगर परिषद का रवैया गैरजिम्मेदाराना, एक लाख रुपये जुर्माना

 
Dholpur नगर परिषद का रवैया गैरजिम्मेदाराना, एक लाख रुपये जुर्माना

धौलपुर न्यूज़ डेस्क , धौलपुर  सैंपऊ रोड स्थित आनंद नगर कॉलोनी के रह वासियों के कई दिनों से किए जा रहे संघर्ष की आखिर कार्य जीत हासिल हुई। स्थाई लोक अदालत धौलपुर के अध्यक्ष सुरेश प्रकाश भट्ट, सदस्य वीरेन्द्र उपाध्याय व रामदत्त श्रोती ने चल रहे प्रकरण में नगर परिषद प्रशासन पर लापरवाही बरतने और गैर जिमेदाराना रवैया अपनाने को लेकर सत नाराजगी जताते हुए एक लाख रुपए के अर्थदण्ड से दण्डित किया। साथ ही कार्य में ढिलाई बरतने पर नगर परिषद आयुक्त के वेतन से प्रतिदिन एक हजार रुपए कॉलोनीवासियों की ओर से खुलवाए खाते में जमा करवाने के आदेश दिए हैं।

कोर्ट ने ये सुनाया निर्णय : कोर्ट ने अपने फैसले में कहा कि आनंद नगर कॉलोनी के सीवरेज पानी का स्थाई समाधान नहीं कर दिया जाता है, तब तक अस्थाई रूप से सीवरेज के पानी को सकर मशीन या पंपसेट लगाकर निकासी की व्यवस्था की जाए। किसी भी सूरत में यह पानी आम रास्ते या लोगों के घरों में नहीं जाए। निर्णय की पालना आदेश के अगले दिन से हो। साथ ही सडक़ व नाली का निर्माण एक माह में कराया जाए। फैसले में कहा कि नगर परिषद तुरंत प्रभाव से गंदे पानी की निकासी नहीं करती है तो नगर परिषद आयुक्त के वेतन से एक हजार रुपए प्रतिदिन आनंद नगर के मोहल्लेवासियों की ओर से खुलवाए गए नए संयुक्त बैंक खाते में जमा कराए जाएं। कोर्ट ने जिला कलक्टर को आदेश दिया कि वह कार्य की निगरानी के लिए फोटो ग्राफ व वीडियोग्राफी कराने के लिए एक कमेटी का गठन करें। जो साप्तहिक रूप से कोर्ट को रिपोर्ट पेश करेगी। कमेटी अगर झूठी रिपोर्ट पेश करती है तो इसकी जिमेदारी जिला कलक्टर की होगी। वहीं कोर्ट ने इलाके के लोगो ंको जो मानसिक पीडा हुई है उसके लिए नगर परिषद पर एक लाख रुपए का अर्थदण्ड लगाया है। कोर्ट में उक्त प्रकरण कॉलोनी निवासी राजेन्द्र प्रसाद शर्मा, लाखन सिंह, नत्थीलाल शर्मा, रामसेवक, रामदत्त, नीरज कुमार, राहुल सिंह, विशभर, भूरा सिंह, प्रवेश कुमार, बैजनाथ, रनवीर सिंह, विजय, दीपक, जगदीश सिंह ने दायर किया था।

लगातार उठाया मुद्दा

गौरतलब रहे कि शहर की कॉलोनियों में हो रहे जलभराव और सीवरेज के गंदे पानी के सडक़ पर बहने के मामले को गंभीरता से उठाया।  7 दिसबर को प्रमुखता से ‘जनरेटर से पानी फेंकने का 141 दिन में 35 लाख रुपए खर्च कर दिए’ तथा 7 जनवरी 2025 के अंक में ‘गुहार लगा लगा सूखे गले, अब सुनवाई भी नहीं’ खबर प्रकाशित की। इसी तरह गत 8 नवबर के अंक में ‘स्कूल वैन पलटने से बची, बच्चों को लोगों ने निकाला’ तथा 14 नवबर 2024 के अंक में ‘समस्या हल का वादा डेढ़ माह बाद भी अधूरा’ खबर प्रकाशित की। बहस के दौरान पत्रिका की खबरों का भी उल्लेख किया गया।