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Bundi खतरे में वन्यजीव, सुरंग के पास सड़क हादसे में एक पैंथर की मौत

 
Bundi खतरे में वन्यजीव, सुरंग के पास सड़क हादसे में एक पैंथर की मौत

बूंदी न्यूज़ डेस्क, रामगढ़ टाइगर रिजर्व में एक और पैंथर की मौत हो गई। रविवार देर रात मादा पैंथर की बूंदी टनल के पास सड़क हादसे में जान चली गई। ए शिड्यूल श्रेणी के वन्यजीव लगातार काल का ग्रास बन रहे हैं। पिछले तीन महीनों में 2 टाइगर की मौत हो चुकी है। इसी महीने में 5 पैंथर की जान चली गई। ऐसे में रामगढ़ टाइगर रिजर्व में इस साल लैपर्ड सफारी की तैयारियों का धक्का लगा है। लगातार वन्यजीवों की मौतों के बाद मॉनिटरिंग की कमी सामने आ रही है।  रामगढ़ टाइगर रिजर्व में आने वाले सैलानियों को टाइगर, पैंथर की साइटिंग रोमांचित करती है। ऐसे में कोर जोन में टाइगर सफारी बंद होने, बफर में टाइगर का मूवमेंट कम व पैंथर की साइटिंग है। वन्यजीव प्रेमियों ने कहा कि जिम्मेदारों को हादसे में मारे जा रहे वन्यजीवों की मौतों को रोकथाम के लिए उपाय करने होंगे। जिस मादा पैंथर की मौत बूंदी टनल के पास हादसे में हुई, वह एडल्ट थी, जो कुनबा बढ़ाने में सहायक होती। सड़क हादसे में पैंथर के हाथ, पैर में गंभीर चोटें लगी हुई थीं। जिस जगह पैंथर की मौत हुई, वह टनल लगदरिया भैरुजी के पास है। शहर से 3 से 4 किमी की दूरी पर है।

यहां मवेशी डाले जाने से वन्यजीव भोजन के लिए जंगल से निकलकर सड़क क्रॉस करते हैं। वन्यजीव प्रेमी भंवर त्रिभुवनसिंह हाड़ा ने बताया कि विभाग के अधिकारियों की लापरवाही के कारण हादसे हो रहे हैं। रामगढ़ टाइगर रिजर्व के बफर जोन में मृत मवेशियों को डालने और अंडरपास नहीं होने से एडल्ट पैंथर सड़कों पर मारे जा रहे हैं। बाघ के साथ अब लैपर्ड भी मर रहे हैं। इस प्रकार तो रामगढ़ खत्म हो जाएगा। रामगढ़ रिजर्व की दीवार की ऊंचाई कराने के साथ फेंसिंग कराई जाए। जिस जगह मादा पैंथर मरी है, वहां करीब 10 से 12 लैपर्ड का मूवमेंट है। वरिष्ठ वन्यजीव प्रेमी िबट्ठल सनाढ्य ने वन्यजीवों के लिए विशेष प्रयास करने की जरूरत बताई। बफर जोन रेंजर ने नहीं किया ज्वॉइन जिस इलाके में मादा पैंथर सड़क पर मरी मिली है, उस एरिया के बफर जोन के रेंजर शिवप्रकाश चौधरी ने अभी पदभार ग्रहण नहीं किया है। हिंडौली के रेंजर को अतिरिक्त चार्ज दिया हुआ है।

रामगढ़ टाइगर रिजर्व के बफर जोन में पैंथरों के हादसे में मरने की घटनाएं हो रही हैं। इसके लिए एक कॉरिडोर बनना चाहिए। जहां ज्यादा मौतें हैं, उन जगहों पर अंडरपास बनाया जाए, क्योंकि जानवर मजबूरन सड़क पार कर दूसरी ओर जाता है। अगर अंडरपास होगा तो वे बिना डिस्टर्ब क्रॉस करेगा और घटनाएं रुकेंगी। कॉरिडोर व अंडरपास के लिए जगह चयनित कर प्रपोजल बनाया जाएगा। टनल व आसपास की हिस्ट्री देखकर उन जगहों पर स्पीड ब्रेकर बनवाए जाएंगे। जनता को भी अवेयर होना होगा। रात में टाइगर रिजर्व एरिया में वाहन धीरे चलाकर निकलेंगे तो ये आसानी से रोड क्रॉस कर सकेंगे। - देवेंद्र सिंह भाटी, डीसीएफ, बफर, रामगढ़ टाइगर रिजर्व

रेडियम के चेतावनी बोर्ड लगें हाइवे पर जागरूकता कैंपेन चले, रेडियम चेतावनी बोर्ड लगाए जाएं। रामगढ़ टाइगर रिजर्व के घने जंगलों में तेंदुए का प्राकृतिक आवास होने के चलते कुनबा धीरे-धीरे बढ़ रहा है। इसलिए जंगलों के पास से गुजरने वाले राजमार्गों पर वाहनों की गति सीमा निर्धारित हो। चालकों को सतर्क रहने के लिए जागरूकता अभियान चलाने की जरूरत है। रात के समय वाहन चालकों को विशेष सावधानी बरतनी चाहिए, क्योंकि अंधेरे में वन्यजीवों को देख पाना मुश्किल होता है। वन विभाग को भी सड़क किनारे रेडियम चेतावनी बोर्ड लगाने चाहिए, ताकि चालक सतर्क रहें। इन हादसों से वन्यजीव संरक्षण के प्रयासों को भी धक्का लगता है। वन्यजीव प्रेमी भी विभाग के साथ मिलकर वन्यजीवों की सुरक्षा के लिए काम करे तो ऐसी घटनाएं काफी हद तक रुकेंगी।