Ajmer आँखों के 4700 ऑपरेशन अब अगले 4 महीने में 3 हजार से ज्यादा हो जाएंगे
 

 
अजमेर न्यूज़ डेस्क, अजमेर जवाहरलाल नेहरू अस्पताल के नेत्र रोग विभाग में इन दिनों मरीजों की भारी कतार देखी जा सकती है. नवंबर के शुरुआती सप्ताह में नेत्र रोग विभाग की ओपीडी 250 से 300 के बीच थी, जो बढ़कर 450 तक पहुंच रही है। फिलहाल सर्दी के साथ यह आंकड़ा बढ़ने की संभावना है। नेत्र रोग विभाग में ओपीडी में ज्यादातर मरीज ग्लूकोमा और मोतियाबिंद के ऑपरेशन कराने वाले हैं। इस कारण ओपीडी में अतिरिक्त स्टाफ तैनात किया गया है। ओपीडी के साथ-साथ ऑपरेशन थिएटर में भी रोजाना मरीजों की संख्या दोगुनी हो गई है।

नेत्र रोग विभाग के एचओडी डॉ. राकेश पोरवाल ने बताया कि यूनिट के पूरे साल के आंकड़े देखें तो पूरे साल में 47 सौ ऑपरेशन होते हैं। सिर्फ तीन से चार महीने यानी नवंबर से फरवरी तक के आंकड़ों पर नजर डालें तो इन महीनों में तीन हजार से ज्यादा नेत्र रोगियों का ऑपरेशन होता है। यानी साल भर में 70 फीसदी ऑपरेशन सर्दियों में ही होते हैं. उन्होंने बताया कि आम लोगों में यह धारणा बन गयी है कि ऑपरेशन सिर्फ सर्दी में ही करना चाहिए. सर्दियों में ऑपरेशन करवाने से मरीजों को जल्द राहत मिलती है। लेकिन ऐसा कुछ भी नहीं है. यह सच है कि गर्मियों की तुलना में सर्दियों में खाना बेहतर होता है। रोज नहाने का झंझट नहीं रहता. अधिक आराम करें. लापरवाही महंगी पड़ सकती है डॉ. पोरवाल ने बताया कि सर्दी के इंतजार में की गई लापरवाही मरीज की आंखों पर भारी पड़ सकती है। कई बार ऐसे मरीज आते हैं जिनका ग्लूकोमा कालापानी अंदर ही अंदर फूट जाता है। आंखों की रोशनी काफी हद तक खत्म हो जाती है। मरीज मौसम का इंतजार न करें, ऑपरेशन करा लें।